भारत में नक्सलवाद के खिलाफ लड़ाई में एक बड़ी सफलता हासिल हुई है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने घोषणा की है कि अब देश में केवल 6 जिले ही नक्सल प्रभावित बचे हैं। यह संख्या पहले 12 थी, लेकिन सरकार द्वारा उठाए गए ठोस कदमों के चलते इसमें तेजी से गिरावट आई है।
नक्सलवाद के खात्मे का संकल्प
अमित शाह ने यह स्पष्ट किया कि 31 मार्च 2026 तक भारत पूरी तरह से नक्सलवाद से मुक्त हो जाएगा। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'एक्स' पर लिखा, "मोदी सरकार सशक्त, सुरक्षित और समृद्ध भारत का निर्माण कर रही है। हम विकास के पथ पर आगे बढ़ रहे हैं और तेजी से देश नक्सल मुक्त हो रहा है।"
आंकड़ों में नक्सलवाद की गिरावट
केंद्रीय गृह मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, 2015 में नक्सल प्रभावित जिलों की संख्या 35 थी। 2018 में यह घटकर 30 हुई, 2021 में 25 और अब केवल 6 जिले ही नक्सलवाद की चपेट में हैं। बीते 10 वर्षों में कुल 29 जिले नक्सलवाद से मुक्त हो चुके हैं, जो सरकार की सख्त नीतियों और प्रभावी अभियानों का परिणाम है।
सरकार की रणनीति
सरकार ने नक्सलवाद से निपटने के लिए कई स्तरों पर काम किया है। इसमें सुरक्षा बलों की तैनाती, इंटेलिजेंस नेटवर्क को मजबूत बनाना, नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में विकास कार्यों को गति देना और स्थानीय जनता के लिए रोजगार एवं शिक्षा की व्यवस्था करना शामिल है।
भविष्य की योजना
अमित शाह ने दोहराया कि सरकार नक्सलवाद को पूरी तरह खत्म करने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा कि 2026 तक भारत पूरी तरह से नक्सलवाद मुक्त हो जाएगा और देश के हर नागरिक को सुरक्षित वातावरण मिलेगा।