राणा सांगा को कहा गद्दार, बाबर के लिए दिखाया प्यार: सपा सांसद ने राज्यसभा में उगला जहर

Mar 22, 2025 - 14:34
Apr 10, 2025 - 17:07
 0  15
राणा सांगा को कहा गद्दार, बाबर के लिए दिखाया प्यार: सपा सांसद ने राज्यसभा में उगला जहर

उत्तर प्रदेश से समाजवादी पार्टी (सपा) के राज्यसभा सांसद रामजी लाल सुमन ने सदन में इतिहास को लेकर एक विवादित बयान दिया, जिससे राजनीतिक हलकों में बवाल मच गया है। उन्होंने महाराणा संग्राम सिंह (राणा सांगा) को गद्दार बताया और यह तर्क दिया कि बाबर को भारत लाने वाले राणा सांगा थे। उनके इस बयान को लेकर सदन में हंगामा खड़ा हो गया और उपसभापति हरिवंश ने उन्हें संसदीय मर्यादाओं का पालन करने की नसीहत दी।
--

सांसद का विवादित बयान

राज्यसभा में बोलते हुए रामजी लाल सुमन ने कहा,

"भाजपा वाले मुस्लिमों को बदनाम करने के लिए कहते हैं कि उनमें बाबर का डीएनए है। लेकिन हिंदुस्तान का मुस्लिम बाबर को अपना आदर्श नहीं मानता है। वह मोहम्मद शाह और सूफी संतों को अपना आदर्श मानता है। मैं जानना चाहूँगा कि बाबर को लाया कौन? इब्राहिम लोदी को हराने के लिए बाबर को राणा सांगा लाया था। अगर मुस्लिम बाबर की औलाद हैं तो तुम (हिंदू और भाजपा) गद्दार राणा सांगा की औलाद हो। यह हिंदुस्तान में तय हो जाना चाहिए।"

उन्होंने आगे कहा कि हम बाबर की आलोचना करते हैं, लेकिन राणा सांगा की नहीं। यह बयान आते ही सदन में जोरदार विरोध शुरू हो गया।
-

राणा सांगा को लेकर दिए गए बयान पर बवाल

महाराणा संग्राम सिंह (राणा सांगा) भारतीय इतिहास के महान योद्धाओं में से एक माने जाते हैं, जिन्होंने विदेशी आक्रांताओं के खिलाफ वीरता से लड़ाई लड़ी। उनके नेतृत्व में राजपूतों ने बाबर की सेना से टक्कर ली, हालांकि खानवा की लड़ाई में पराजय के कारण भारतीय उपमहाद्वीप पर मुगलों का शासन स्थापित हो गया।

रामजी लाल सुमन के इस बयान को लेकर भाजपा और अन्य दलों के नेताओं ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है। भाजपा सांसदों ने इसे इतिहास का तोड़-मरोड़ कर प्रस्तुत करने की कोशिश बताया और उनकी मंशा पर सवाल उठाए।
-

पहले भी दे चुके हैं विवादित बयान

यह पहली बार नहीं है जब रामजी लाल सुमन ने विवादित बयान दिया हो।

दिसंबर 2018 में, उन्होंने मोहम्मद अली जिन्ना को देशभक्त बताया और कहा कि उनकी आजादी की लड़ाई में महत्वपूर्ण भूमिका थी।

उन्होंने वीर सावरकर को गद्दार करार दिया और दावा किया कि सावरकर ने अंग्रेजों से माफी मांगी थी।

उनके इन बयानों पर पहले भी काफी विवाद हो चुका है और इस बार राणा सांगा को गद्दार कहने के कारण उन्हें और आलोचनाओं का सामना करना पड़ सकता है।
-

राजनीतिक प्रतिक्रियाएँ

रामजी लाल सुमन के बयान पर राजनीतिक दलों ने तीखी प्रतिक्रियाएँ दी हैं।

भाजपा का जवाब

भाजपा सांसदों ने इस बयान को देश और इतिहास का अपमान बताया। भाजपा नेता गिरिराज सिंह ने कहा,

"जो लोग भारत के वीरों का अपमान कर रहे हैं, वे देश की अखंडता को कमजोर करने की कोशिश कर रहे हैं। रामजी लाल सुमन का बयान पूरी तरह से गलत है और उन्हें इसके लिए माफी मांगनी चाहिए।"

कांग्रेस और अन्य विपक्षी दलों की प्रतिक्रिया

कांग्रेस ने इस बयान से दूरी बनाते हुए कहा कि इतिहास को तोड़-मरोड़कर पेश करना सही नहीं है। वहीं, कुछ विपक्षी दलों ने इसे व्यक्तिगत विचार बताते हुए मुद्दे को तूल न देने की अपील की।

राजपूत संगठनों का आक्रोश

राजस्थान और उत्तर प्रदेश में राजपूत संगठनों ने इस बयान के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करने की चेतावनी दी। करणी सेना के एक नेता ने कहा,

"अगर कोई हमारे पूर्वजों का अपमान करेगा, तो हम चुप नहीं बैठेंगे। रामजी लाल सुमन को तुरंत अपने बयान पर सफाई देनी चाहिए।"
--

क्या इतिहास को गलत तरीके से पेश किया जा रहा है?

इतिहासकारों के अनुसार, राणा सांगा ने बाबर को भारत बुलाने का फैसला जरूर किया था, लेकिन उनका उद्देश्य दिल्ली के तुर्क-अफगान शासन को खत्म कर हिंदू राज स्थापित करना था। राणा सांगा और बाबर के बीच अंततः कान्हवा की लड़ाई (1527) हुई, जिसमें राणा सांगा को पराजय का सामना करना पड़ा।

इतिहास को राजनीतिक फायदे के लिए तोड़-मरोड़ कर पेश करना सही नहीं माना जाता। रामजी लाल सुमन के बयान ने एक बार फिर इतिहास के तथ्यों को लेकर बहस छेड़ दी है।

रामजी लाल सुमन के राणा सांगा पर दिए गए बयान से विवाद खड़ा हो गया है। सदन में उनके इस बयान को लेकर तीखी बहस हुई, और उन्हें संसदीय मर्यादाओं की याद दिलाई गई। पहले भी उनके जिन्ना और सावरकर पर दिए गए विवादित बयान विवाद खड़े कर चुके हैं।

अब देखने वाली बात यह होगी कि क्या वह अपने बयान पर सफाई देंगे या इस मुद्दे पर राजनीतिक विवाद और बढ़ेगा?

What's Your Reaction?

like

dislike

love

funny

angry

sad

wow